श्री गुरू नानक देव जी तों  नुछावर त्रेल-कविताएं-गुरु नानक देव जी-Hindi Poetry-हिंदी कविता -Hindi Poem | Hindi Kavita Guru Nanak Dev Ji

श्री गुरू नानक देव जी तों  नुछावर त्रेल-कविताएं-गुरु नानक देव जी-Hindi Poetry-हिंदी कविता -Hindi Poem | Hindi Kavita Guru Nanak Dev Ji ‘पौन लुके पाणी’ ने सहीयो ! जां इह गल्ल सुन पाई: ‘गुर नानक प्रीतम कल आसन, पयार छहबरां लाई’ । पौन कुच्छड़ों तिलक रात नूं, शबनम रूप बणाके विछ गया सारा धरती उत्ते:-‘चरन …

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