राग गौडी-अभंगवाणी-संत नामदेव जी-Hindi Poetry-हिंदी कविता -Hindi Poem | Hindi Kavita Sant Namdev Ji
राग गौडी-अभंगवाणी-संत नामदेव जी-Hindi Poetry-हिंदी कविता -Hindi Poem | Hindi Kavita Sant Namdev Ji अदबुद अचंभा कथ्या न जाई । चींटी के नेत्र कैसे गजिंद्र समाई ॥टेक॥ अदबुद अचंभा कथ्या न जाई । चींटी के नेत्र कैसे गजिंद्र समाई ॥टेक॥ कोई बोलै नेरे कोई बोलै दूरि । जल की मछली कैसे चढै षजूरि ॥1॥ कोई …