चन्द रोज़ और मिरी जान-नक़्शे फ़रियादी-फ़ैज़ अहमद फ़ैज़-Hindi Poetry-हिंदी कविता -Hindi Poem | Hindi Kavita Faiz Ahmed Faiz

चन्द रोज़ और मिरी जान-नक़्शे फ़रियादी-फ़ैज़ अहमद फ़ैज़-Hindi Poetry-हिंदी कविता -Hindi Poem | Hindi Kavita Faiz Ahmed Faiz चन्द रोज़ और मिरी जान फ़कत चन्द ही रोज़ ज़ुल्म की छांव में दम लेने पे मज़बूर हैं हम और कुछ देर सितम सह लें, तड़प लें, रो लें अपने अजदाद की मीरास हैं माज़ूर हैं हम …

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