खेल-खेल में उड़ा-कविताएँ-केदारनाथ अग्रवाल-Hindi Poetry-हिंदी कविता -Hindi Poem | Hindi Kavita Kedarnath Agarwal

खेल-खेल में उड़ा-कविताएँ-केदारनाथ अग्रवाल-Hindi Poetry-हिंदी कविता -Hindi Poem | Hindi Kavita Kedarnath Agarwal   खेल-खेल में उड़ा, पहुँचा- फट गया- आकाश में रंगीन गुब्बारा खुशी का। जिसने उड़ाया आकाश में पहुँचाया वह हुआ फिर गरीब बाप का गरीब बेटा- दुःख दर्द का चहेटा। रचनाकाल: १८-१२-१९७९