उससे पहले ही पुकार लेना-प्रदीप सिंह-Hindi Poetry-हिंदी कविता -Hindi Poem | Hindi Kavita Pradeep Singh

उससे पहले ही पुकार लेना-प्रदीप सिंह-Hindi Poetry-हिंदी कविता -Hindi Poem | Hindi Kavita Pradeep Singh   सर्द रात में सन्नाटा जो पसरा रहता है गलियों में देखना हमारे बीच ही न आ पसरे करते रहना चौकस मुझे वाचमैन सी सोटी खड़का कर हिमालय की बर्फ न जमने पाए बीच हमारे डालते रहना नया जलावन बातों …

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